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मोदी की झूठ को भी सच मानने लगी जनता, कांग्रेस गुटबाजी ख़त्म कर एकजुट हो जाए -विद्रोही

Ved-Prakash-Vidrohi
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 11 मार्च 2022- स्वयंसेवी संस्था ग्रामीण भारत के अध्यक्ष एवं हरियाणा प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता वेदप्रकाश विद्रोही ने एक बयान में कहा कि पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव परिणाम कांग्रेस के लिए निराशाजनक रहे, पर साथ में यह भी सामने आया कि आज मतदाता के लिए महंगाई, बेरोजगारी, भ्रष्टाचार, कुव्यवस्था, किसान, मजदूर, गरीब शोषण, आर्थिक बदहालीे, महिला अत्याचार कोई मुद्दा नही है। विद्रोही ने कहा कि जब आर्थिक बदहाली, बेरोजगारी व महंगाई से त्रस्त होने के बाद भी मतदाता मोदी-भाजपा को वोट दे रहा है तो साफ है कि मतदाता के लिए जनमुद्दों की बजाय जाति, धर्म, बटवारे, नफरत व जुमलों की राजनीति अधिक महत्व रखती है। जब आमजन अपने वर्ग विरोधी व पूंजीपति समर्थक भाजपा के भावनात्मक बहकावे में आकर वोट की ताकत से उन्हे सत्ता सौपेगा तो जनता का राम ही मालिक है। वहीं इन चुनावों में कांग्रेस की हार बताती है कि विगत आठ सालों से बार-बार मिल रही हार पर कांग्रेस को गंभीर आत्मविश्लेषण करके अपनी कार्यप्रणााली बदलनी होगी।

विद्रोही ने कहा कि कांग्रेस को संगठन के संदर्भ में कठोर व प्रभावी निर्णय लेने के साथ-साथ विभिन्न राज्यों में निजी महत्वकांक्षाओं से प्रेरित नेताओं की गुटबाजी पर कडाई से रोक लगानी होगी। अभिव्यक्ति की स्वतत्रंता व आंतरिक लोकतंत्र के नाम पर कांग्रेस नेता जिस तरह के अनुशासहीन बयान देते है, वह कांग्रेस की सारी मेहनत, रणनीति को ध्वस्त कर देते है। कांग्रेस को ढुलमुल व यथास्थितिवादी रवैया छोडकर हर मुद्दे पर ना केवल तत्काल निर्णय लेने की कार्यप्रणाली अपनानी होगी अपितु उन निर्णय को लागू करने में भी प्रभावी कदम उठाने की जरूरत है। 

विद्रोही ने कहा कि कांग्रेस को अतीत से निकलकर वर्तमान के धरातल की कठोर वास्तविकताओं को समझकर व स्वीकार करके ही ऐसी नई शैली विकसित करनी होगी जिससे वह जनता का विश्वास जीत सके। आज कांग्रेस के लिए सबसे बडी चिंता का विषय यह है कि आमजन उसकी बातों, दावों, वादों पर विश्वास नही कर रहा है। वहीं मोदी-भाजपा की खुली झूठ को भी आमजन सत्य मान रहा है। जनता में विश्वास का यह संकट दूर करना ही कांग्रेस के लिए सबसे पहला काम होना चाहिए। चुनावी हार से कांग्रेस कार्यकर्ताओं में निराशा जरूर है, पर वे हताश न हो। इसके लिए लगातार जनमुद्दों पर संघर्ष, आंतरिक चिंतन, आत्ममंथन, पार्टी में सुधार करने की जरूरत है। विद्रोही ने कहा कि आत्ममंथन करेंगे, यह कहने मात्र से काम नही चलेगा अपितु कांग्रेस को अपनी आतंरिक स्थिति पर गंभीर व गहन आत्ममंथन करकेे करेक्टिव मेजर लेने होंगे, तभी कांग्रेस प्रभावी विपक्ष की भूमिका निभाकर फिर से जनता का भरोसा जीत सकती है। 

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