उपायुक्त डा. हरीश कुमार वशिष्ठ मंगलवार को जिला स्तरीय टास्क फोर्स कमेटी की बैठक की अध्यक्षता करते हुए निर्देश दे रहे थे। उन्होंने कहा कि नगर परिषद व नगर पालिका क्षेत्र में संबंधित अधिकारी अवैध कालोनियों को विकसित न होने दे। उन्होंने कहा कि रजिस्ट्रार ऑफ फर्म एण्ड सोसायटी रजिस्ट्रेशन से पहले उसके उद्देश्य को देखकर ही सोसायटी का रजिस्ट्रेशन करें। उन्होंने निर्देश दिए कि बिजली विभाग के अधिकारी अनाधिकृत कालोनियों में बिजली के कनैक्शन जारी न करें तथा लीड बैंक मैनेजर अनाधिकृत व अवैध कॉलोनियों में किसी को ऋण न दें।
उपायुक्त ने बताया कि जिला में नगर एवं ग्राम नियोजन विभाग द्वारा घोषित नियंत्रित क्षेत्र में निर्माण, पुन: निर्माण करना, सडक़ बनाना, सडक़ों से पहुंच प्राप्त करना, भूमि का टुकड़ों में विभाजन करना, हस्तान्तरण करना या उन पर निर्माण करने के लिए संबंधित विभाग की अनुमति आवश्यक है।
उन्होंने बताया कि जिला में नगर एवं ग्राम आयोजना विभाग द्वारा घोषित नियंत्रित क्षेत्र में बिना अनुमति के निर्माण, भूमि का विभाजन करना व इस संदर्भ में विज्ञापन देना नियंत्रित क्षेत्र अधिनियम के प्रावधानों का उल्लंघन माना जाएगा। जो कोई भी ऐसी गतिविधियों में संलिप्त पाया जाएगा तो उनके खिलाफ नियमानुसार कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
उपायुक्त ने कहा कि अगर कोई भी व्यक्ति बिना अनुमति के उपरोक्त कार्य करेगा तो डीटीपी द्वारा पुलिस की सहायता से ऐसे निर्माण को गिराया जाएगा। उन्होंने कहा कि नगर एवं ग्राम आयोजना विभाग द्वारा नोटिफाइड जिला के जो नियंत्रित क्षेत्र नियंत्रित क्षेत्र अधिनियम के अंतर्गत आते है। ऐसे क्षेत्रों में आमजन भी प्लाट आदि न खरीदें साथ ही कुछ व्यक्तियों द्वारा एग्रीमेन्ट पर प्लाट बेचे जाते हैं जो कि पूर्णतया अवैध है। बैठक में एसडीएम पलवल ज्योति सहित अन्य विभागों के संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।
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