चण्डीगढ, 19 जुलाई- हरियाणा सरकार पशुपालकों को जोखिम से फ्री करने की दिशा में अहम कदम उठा रही है। राज्य सरकार द्वारा वर्ष 2019-20 के दौरान 10 लाख पशुओं का बीमा किया जायेगा जिस पर कुल 71 करोड़ 79 लाख रुपये खर्च किये जायेंगे।
इस संबंध में आज हरियाणा की मुख्य सचिव श्रीमती केशनी आनन्द अरोड़ा की अध्यक्षता में राष्टï्रीय पशुधन मिशन (एनएलएम)की राज्य स्तरीय कार्यकारी समीति की बैठक की गई जिसमें इस प्रस्ताव की सैद्धांतिक अनुमति प्रदान की गई। राष्टï्रीय पशुधन मिशन के तहत ‘पंडित दीनदयाल उपाध्याय सामुहिक पशुधन बीमा योजना’ शुरू की गई है जिससे पशुपालकों को किसी संभावित नुकसान से जोखिम मुक्त किया जा सके ।
इस अवसर पर श्रीमती अरोड़ा ने अधिकारियों को निर्देश दिये कि पशुपालक के अधिकतम दावों के निपटान के लिए विभाग और बीमा कंपनी द्वारा एक उचित तंत्र विकसित किया जाये एवं बीमा कंपनियों द्वारा दावे निर्धारित समय अवधि में पूरे किये जायें। इसके अलावा, उन्होने एनएलएम के अन्य घटकों जैसे अनुसंधान विकास ,चारा और अन्य विस्तार गतिविधियों पर भी कार्य करने के निर्देश दिये।
बैठक में बताया गया कि योजना को राज्य के सभी जिलों में लागू किया जाएगा। इस योजना को हरियाणा पशुधन विकास बोर्ड के द्वारा कार्यान्वित किया जायेगा। इस योजना के अनुसार, राज्य के 10 लाख पशुओं का बीमा करने का लक्ष्य है, जिसमें लाभार्थी को प्रत्येक बड़े पशु के बीमा प्रीमियम के रूप में 100/-रुपये और प्रत्येक छोटे जानवर के लिए बीमा प्रीमियम के रूप में 25/-रुपये प्रति वर्ष के लिए देने होंगे। बैठक में बताया कि योजना के अनुसार एक लाभार्थी अधिकतम 5 बड़े पशुओं का 100/- रुपये प्रत्येक पशु तथा 50 छोटे जानवरों का 25/- रुपये प्रत्येकपशु का बीमा करवाया जा सकता है। अनुसूचित जाति के लाभार्थियों के मामले में, उनके सभी पशुओं का बीमा मुफ्त होगा।
बैठक में पशुपालन एवं डेयरी विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री सुनील गुलाटी, वित्त विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री टी.वी.एस.एन. प्रसाद के अलावा अन्य अधिकारी उपस्थित थे।
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