चंडीगढ़, 11 अक्तूबर, मुख्यमंत्री ने बताया कि एनसीआर क्षेत्र में वायु प्रदूषण नियंत्रण के लिए सुप्रीम कोर्ट तथा राष्ट्रीय हरित अधिकरण (एनजीटी) के आदेशों के आधार पर हरियाणा राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने इस बार एनसीआर क्षेत्र के साथ-साथ पूरे राज्य में केवल ग्रीन पटाखे बनाने, चलाने व उनकी बिक्री की अनुमति दी है। सामान्य पटाखे बनाने, बेचने और चलाने पर पूर्ण प्रतिबंध लगाया गया है।
पराली प्रबंधन के लिए इस वर्ष 7146 मशीनें उपलब्ध करवाई गई
उन्होंने कहा कि पराली प्रबंधन के लिए पिछले 4 सालों में किसानों को सीएचसी के माध्यम से और व्यक्तिगत रूप से 72,777 मशीनरी उपलब्ध करवाई गई है। इस वर्ष 7146 मशीनें उपलब्ध करवाई गई हैं जिसमें बेलिंग यूनिट, सुपर सीडर, जीरो टिल सीड कम फर्टीलाइजर ड्रिल इत्यादि शामिल है।
उन्होंने बताया कि राज्य सरकार द्वारा इन-सीटू मैनेजमेंट के तहत किसानों को प्रति एकड़ बेलिंग के लिए 1000 रुपये की प्रोत्साहन राशि दी जा रही है और इसके साथ ही बेलर्स के परिवहन के लिए 500 रुपये प्रति एकड़ अधिकतम 15 हजार रुपए तक गौशालाओं को दिए जा रहे हैं। इसके अतिरिक्त, अवशेष प्रबंधन की आपूर्ति के लिए पानीपत में स्थापित 2जी इथेनॉल संयंत्र को एक हजार रुपये प्रति मीट्रिक टन सहायता प्रदान की जा ही है।
एनसीआर क्षेत्र में वायु प्रदूषण नियंत्रण के लिए सुप्रीम कोर्ट तथा एनजीटी के आदेशों के आधार पर हरियाणा राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने इस बार NCR के साथ-साथ पूरे राज्य में केवल ग्रीन पटाखे बनाने, चलाने व उनकी बिक्री की अनुमति दी है। सामान्य पटाखों पर पूर्ण प्रतिबंध लगाया गया है।
— DPR Haryana (@DiprHaryana) October 11, 2022
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