कुरुक्षेत्र राकेश शर्मा :हरियाणा की मुख्य सचिव केशनी आंनद अरोड़ा ने कहा कि जल शञ्चित अभियान के तहत प्रदेश के 400 तालाबों को नया जीवन दान दिया जाएगा। इन तालाबों को पक्का करने के साथ-साथ बारिश के पानी का संचय किया जाएगा। इन तालाबों में हमेशा पानी का भराव भी सुनिश्चि किया जाएगा। इतना ही नहीं प्रदेश के 140 में से 81 ब्लाक डार्क जोन में पहुंच चुके है। इन सभी ब्लाकों पर जल शक्ति अभियान के तहत विशेष फोक्स किया जाएगा, ताकि इन ब्लाकों में भू जल स्तर में सुधार लाया जा सके। मुख्य सचिव केशनी आंनद अरोडा बुधवार को चंडीगढ से वीडियों कान्फेंसिंग के जरिए अधिकारियों को दिशा-निर्देश दे रही थी। इससे पहले मुख्य सचिव केशनी आंनद अरोडा ने जल शक्ति अभियान के तहत जिलों में किए गए कार्यो और प्रगति रिपोर्ट के बारें में फीडबैक ली है और जल शक्ति अभियान के तहत दिल्ली से संयुक्त सचिव के अधिकारियों के साथ तालमेल करके काम करने के आदेश दिए है, इतना ही नहीं मुख्य सचिव ने संयुक्त सचिव के साथ एडीसी को ओवरआल नोडल आफिसर व सम्बन्धित विभागों के अधिकारियों को भी नोडल अधिकारी के रूप में नियुक्त करने के आदेश उपायुक्तों को दिए गए है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री मनोहर लाल के आदेशानुसार जल शक्ति अभियान के तहत सिंतबर माह तक गंभीरता के साथ कार्य करना है।
इस अभियान के लिए केन्द्र सरकार से अधिकारियों को नियुक्त किया गया है, इन अधिकारियों को जिला स्तर पर जल शक्ति अभियान को कार्यन्वित करने के लिए हर संभव सहयोग करना होगा। इस अभियान को स्वयं पीएमओ निगरानी रखें हुए है। इसके लिए प्रत्येक जिलें में एक्सन प्लान तैयार किया जाएगा, इस एक्सन प्लान को मानसून सीजन के दौरान अमलीजामा पहनाने का कार्य किया जाएगा ताकि व्यर्थ पानी का सदुपयोग किया जा सके और बारिश के पानी का संग्रह संभव हो सके। उन्होंने कहा कि प्रदेश के सभी जिलों में 400 तालाबों का जीर्णोधार करने की योजना और सूचि तैयार कर ली गई है। इस सूचि को जिलानुसार आगामी कार्रवाई करने के लिए उपायुक्तों के पास भेज दिया गया है ताकि तालाबों पर शीघ्रता से काम किया जा सके और इसी सीजन में ही पानी का बचाव किया जा सके। सभी सरकारी भवनों में बारिश के पानी से भूमि को रिचार्ज करने की व्यवस्था की जाए, इसके लिए सभी अधिकारी अभी से कार्य शुरू कर दें ताकि इसी बारिश के सीजन में रिचार्जिंग सिस्टम को चालू किया जा सके। उन्होंने कहा कि प्रदेश में पिछले सीजन से दुगना पौधे रोपण करने का लक्ष्य पूरा करना है। इसके अलावा 90 लाख पौधों को ग्रामीण क्षेत्र में लगाया जा रहा है, इसमें से कम से कम 500 पौधे प्रत्येक गांव में लगाएं जाएंगे। इस अभियान में नगरनिगम, नगर परिषद और नगरपालिकाओं के अधिकारी अपना सहयोग देंगे और सभी जगहोंं पर सरकार की और पंचायत की खाली जमीनों को चिन्नहित करेंगे। इसके बाद इन जमीनों पर वन विभाग के सहयोग से पौधे लगाएं जाएंगे। जल शक्ति अभियान को एक जन आन्दोलन का रूप देना है और गांव में वाटर रिचार्ज के लिए 1 लाख 50 हजार पीटस भी बनाएं जाने है।
मुख्य सचिव ने कहा कि जल शक्ति अभियान को मनरेगा के साथ भी जोड़ कर काम किया जाएगा। इस अभियान के लिए पेयजल एवं स्वच्छता विभाग को बड़ी जिम्मेवारी सौंपी गई है और जल शक्ति अभियान के दौरान 5 बिंदूओं पर मुख्य फोकस रखा जाएगा, जिनमें पानी का सरंक्षण और बरसात के पानी का सरंक्षण, परम्परागत जल संसाधनों व तालाबों का जीर्णोद्घार, पानी रिर्चाज के लिए बोरवेल का दोबारा उपयोग करना, वाटर शैड को विकसित करना और इंटेंसिव अफोरस्टेशन शामिल है। उन्होंने कहा कि कुरुक्षेत्र जिले में जल शक्ति अभियान को जन आंदोलन बनाने के लिए शहर की समाज सेवी संस्थाओं के साथ-साथ एनजीओ को भी साथ जोड़ा जाएगा, इतना ही नहीं एनसीसी, एनएसएस, रैडक्रास, सेल्फ हेल्प ग्रुप, स्वच्छता ग्रहियों, स्कूलों, आंगनवाड़ी केन्द्रों, नेहरु युवा केन्द्र, पंचायती राज संस्थाए, कृषि विज्ञान केन्द्र जैसी संस्थाओं के माध्यम से भी लोगों को पानी बचाने का संदेश दिया जाएगा। इन संस्थाओं के माध्यम से लोगों तक बात पहुंचाई जाएगी, अगर आज पानी नहीं बचाया तो कल का भविष्य सुरक्षित नहीं रहेगा। इन सभी संस्थाओं को साथ जोडकऱ समय-समय पर प्रगति रिपोर्ट भी ली जाएगी।उपायुक्त डा. एसएस फुलिया ने कहा कि जिला कुरुक्षेत्र में जल शक्ति अभियान के तहत एक्शन प्लान तैयार करके कार्य शुरु कर दिया गया है और इस जिले में गुमथला गढु के सूक्ष्म सिंचाई पायलट परियोजना के प्रति किसानों को जागरुक किया जाएगा ताकि अधिका से अधिक किसान टपका व फव्वारा विधि से सिंचाई करके पानी को बचा सके। इस प्रणाली से करीब 46 प्रतिशत पानी की बचत की जा रही है। इस मौके पर एसडीएम अश्विनी मलिक, एसडीएम संयम गर्ग, एसडीएम अनिल यादव, डीआरओ डा. चांदी राम चौधरी सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे।
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